Agni Series से भारतीय रक्षा को मज़बूत बनाती शीना रानी !

Agni-V की सफलता केवल एक तकनीकी उपलब्धि नहीं है, बल्कि यह भारतीय महिलाओं की विज्ञान और रक्षा क्षेत्र में सक्षमता का प्रमाण है. Sheena Rani ने 'Mission Divyastra' का नेतृत्व किया, जिसमें MIRV तकनीक का उपयोग किया गया.

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विधि जैन
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Sheena Rani - Woman behind success of Agni - V and Agni Series

Image Credits - Hindustan Times

भारत की defense technology में Agni-V Missile एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, और इसकी सफलता में एक महिला की भूमिका होना इसे और भी ख़ास बना देता है. Sheena Rani, जिन्हें 'Divya Putri' के नाम से भी जाना जाता है, ने अपने जीवन के 25 साल भारत के मिसाइल सिस्टम्स को समर्पित करते हुए 1999 से Agni Series के पुनर्निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई.

Agni-V की सफलता केवल एक तकनीकी उपलब्धि नहीं है, बल्कि यह भारतीय महिलाओं की विज्ञान और रक्षा क्षेत्र में सक्षमता का प्रमाण है. Sheena Rani ने 'Mission Divyastra' का नेतृत्व किया, जिसमें MIRV तकनीक का उपयोग किया गया. यह तकनीक एक मिसाइल को 4 से 6 परमाणु Warheads ले जाने की क्षमता प्रदान करती है, जो प्रत्येक एक अलग लक्ष्य को हिट कर सकते हैं.

शीना रानी की यह उपलब्धि केवल एक वैज्ञानिक जीत नहीं है. यह उन सभी महिलाओं के लिए एक प्रेरणा है जो अपने सपनों को साकार करने के लिए दृढ़ संकल्पित हैं. अपनी सफलता के माध्यम से, उन्होंने सिद्ध किया कि विज्ञान और रक्षा जैसे क्षेत्रों में महिलाएं केवल भागीदार नहीं हैं, बल्कि वे leadership में भी सफल हैं और नई संभावनाओं का निर्माण कर सकती हैं.

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जीवन किया 'भारतीय सुरक्षा' को समर्पित

विज्ञान और रक्षा के क्षेत्र में महिलाओं की भूमिका हमेशा से ही अद्वितीय और प्रेरणादायक रही है. 'Divya Putri' के रूप में संबोधित Sheena Rani की यात्रा, भारत की Agni-V Missile के पीछे के मास्टरमाइंड के रूप में, इसी प्रेरणा की एक जीवंत मिसाल है.

57 वर्षीय Sheena Rani, हैदराबाद में Defence Research and Development Organization (DRDO) की एडवांस्ड सिस्टम्स लेबोरेटरी (ASL) में एक गतिशील विज्ञानी हैं. Electronics, Communications और Computer Science में प्रशिक्षित Sheena Rani ने त्रिवेंद्रम के इंजीनियरिंग कॉलेज में अपने कौशल को निखारा. DRDO में शामिल होने से पहले, उन्होंने विक्रम साराभाई स्पेस सेंटर (VSSC) में 8 वर्ष तक ISRO के साथ काम किया. 1998 के पोखरण परमाणु परीक्षण के बाद, वे DRDO में एक लेटरल एंट्री के रूप में शामिल हुई.

शीना रानी ने अपने जीवन के दो दशकों से भी अधिक समय भारत की मिसाइल प्रणालियों को समर्पित किया है. 1999 से, उन्होंने Agni Series को फिर से उन्नत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. इसी series का हाल ही में हिस्सा बनी Agni-V Missile की सफलता ने भारत की रक्षा प्रौद्योगिकी में एक उल्लेखनीय उदहारण स्थापित किया है.

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Agni-V की सफलता ने भारत को पहुंचाया Elite Club में

अग्नि-5 मिसाइल, एक सामान्य प्रोजेक्टाइल नहीं है. इसमें मल्टीपल इंडिपेंडेंटली टार्गेटेबल री-एंट्री व्हीकल्स (MIRV) तकनीक शामिल है, जो एक मिसाइल को 4 से 6 परमाणु warheads ले जाने की क्षमता प्रदान करती है. यह तकनीक अब तक सिर्फ अमेरिका, रूस, फ्रांस, यूनाइटेड किंगडम (यूके) और चीन समेत पांच देशों के पास थी.जिसमें अब भारत ने भी अपना नाम शामिल करवा MIRV technology वाले देशों के Elite Club में सदस्यता हासिल कर ली.

इस उपलब्धि ने भारत को तो वैश्विक मंच पर एक मजबूत स्थान दिलाया ही है, साथ ही यह यह भी दिखाया है कि महिलाएं किसी भी क्षेत्र में, चाहे वो विज्ञान हो या रक्षा, मुख्य भूमिका निभा सकती हैं. Sheena Rani और उनकी टीम द्वारा Agni-V Missile की सफलता, भारत के defense system में एक ऐतिहासिक जीत है. उनका कार्य न केवल रक्षा क्षेत्र में एक नया अध्याय जोड़ता है, बल्कि यह भारतीय महिलाओं के लिए एक प्रेरणा का स्रोत भी बनता है, जो विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अपने सपनों का पीछा करने की आशा रखती हैं.

Sheena Rani की यात्रा हमें याद दिलाती है कि समर्पण, कठिन परिश्रम और दृढ़ विश्वास के साथ कोई भी महिला उच्चतम शिखरों को छू सकती है. उनकी कहानी एक संदेश है कि जब तक हमारी आकांक्षाएं उच्च होती हैं और हमारे इरादे मजबूत होते हैं, तब तक हम अपने सपनों को साकार कर सकते हैं.

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