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सिक्किम में self help groups (SHG) को सशक्त बनाने के लिए मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग ने 3 मार्च को जोरेथांग खेल मैदान में आयोजित self help groups (SHG) भरोसा सम्मेलन के दौरान कई महत्वपूर्ण पहल की घोषणाएं की.
इस कार्यक्रम में कई self help groups के साथ सरकारी और गैर सरकारी पदाधिकारियों ने भाग लिया और सिक्किम में SHG की स्थिति बेहतर करने के साथ इनकी प्रभावशीलता को बढ़ाने की रूपरेखा बताई गयी. मुख्यमंत्री तमांग ने कहा कि जमीनी स्तर पर आर्थिक स्वतंत्रता और सामाजिक एकजुटता को बढ़ावा देने में एसएचजी की महत्वपूर्ण भूमिका है.
जिला स्तर पर एसएचजी का सशक्तिकरण भी यहां घोषित पहल है. इस नई योजना के तहत, हर स्वयं सहायता समूह को जिला स्तर पर उनका प्रतिनिधित्व करने के लिए एक अध्यक्ष और सलाहकार को नामित करने का विशेषाधिकार होगा, जिससे यह सुनिश्चित होगा कि उनकी आवाज सुनी जाए और उन पर प्रभावी कदम उठाये जाए.
जमीनी स्तर पर self help groups के सशक्तिकरण को मद्देनज़र रखते हुए सरकार ने सभी जिलों के लिए प्रति वर्ष 2 करोड़ रुपये का देने का प्लेन बनाया है. स्वसहायता समूहों के की सुविधा और सहूलियत को पूरा करने के लिए, सरकार ने हर जिले में एसएचजी को दो वाहन उपलब्ध कराने का वादा भी किया.
एसएचजी को अधिक विकसित और व्यवस्थित करने के लिए,सिक्किम के हर जिले में समर्पित एसएचजी भवन बनाये जाएंगे. ये भवन ऐसी सेंटर बनेगें जहां समन की महिलाओं को प्रशिक्षण, समन्वय और संसाधन सब एक छत के निचे मिलने लगेगा.
इसी के साथ सेवा वितरण में स्थिरता और प्रभावशीलता सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन (एसआरएलएम) के कर्मचारियों के नियमितीकरण को आगे बढ़ाने का वादा किया. इस तरह के क़दमों से सिक्किम राज्य सवयं सहायता समूह क्रांति में एक मिसाल बन सकता है. साथ ही महिला आर्थिक सशक्तिकरण के लिए उठाये इन क़दमों से कई राज्य प्रेरणा लेकर अपने Self Help Group (SHG) कार्यक्रम को सुचारु, सुदृढ़ और संकल्पित बना सकते है.