दिल्ली की पहली लाइनवुमन प्रीति

दिल्ली की पहली लाइनवुमन बन प्रीति लोगों की मानसिकता बदलना चाहती हैं कि महिलाएं भी प्रशिक्षण लेकर कौशल, और मेहनत के ज़रिये उन प्रोफेशंस में भी अपनी जगह बना सकती हैं जिनमें आमतौर पर सिर्फ पुरुष ही नज़र आते हैं.

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मिस्बाह
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Image: Ravivar Vichar

कई लोग प्रीति को काम करता देख झिझकते, कभी चौंक जाते, तो कभी उनकी काबिलियत पर सवाल उठाते. वे ऐसा क्यों नहीं करेंगे? आख़िरकार, ऐसा हर दिन नहीं होता जब एक युवा महिला बिजली लाइनों पर काम करते दिखती है. 

टाटा पावर-DDL में मिली पहली नौकरी 

लाइनमैन (lineman) जैसे पुरुष प्रधान प्रोफेशन में कदम रख प्रीति वास्तव में लाइनवुमन बनी. पिछले साल टाटा पावर-DDL द्वारा प्रीति को नियुक्त किया गया था. वह दिल्ली शहर में यह काम करने वाली पहली और अभी तक एकमात्र महिला बन गई.

बिहार के बेगुसराय में रहने वाली प्रीति (Delhi's first linewoman) कई साल पहले अपने परिवार के साथ दिल्ली आई थीं. नोएडा में औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान में इलेक्ट्रीशियन (electricity) के रूप में ट्रेंग लेने के बाद, उन्हें पिछले साल टाटा पावरडीडीएल द्वारा चुना गया था. 

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प्रीति ने कहा, "कंपनी में मैंने बिजली मीटर लगाना सीखना शुरू किया और फिर बिजली के खंभों पर चढ़ना सीखा.शुरुआत में मैं घबरा गई थी, थोड़ी डरी भी, लेकिन समय के साथ मैं काम में बेहतर होती गई और धीरे-धीरे मेरा  आत्मविश्वास बढ़ा. मेरे परिवार ने मेरे काम के चुनाव में मेरा समर्थन किया क्योंकि वे जानते थे कि मैं किसी भी दूसरे व्यक्ति की तरह इसके लिए तैयार हूं."

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Image Credits: The Times of India

पहली लाइनवुमन बन प्रीति बदलना चाहती हैं लोगों की मानसिकता 

दिल्ली की पहली लाइनवुमन बन प्रीति लोगों की मानसिकता बदलना चाहती हैं कि महिलाएं भी प्रशिक्षण लेकर कौशल, और मेहनत के ज़रिये उन प्रोफेशंस में भी अपनी जगह बना सकती हैं जिनमें आमतौर पर सिर्फ पुरुष ही नज़र आते हैं (women in male-dominated professions). प्रीति ज़्यादा से ज़्यादा महिलाओं को इस रूढ़िवादिता को तोड़ते हुए देखना चाहती हैं. 

लाइनवर्कर बिजली लाइनों के प्रबंधन से जुड़े काम करते हैं, जैसे केबल इनस्टॉल करना, बिजली वितरण उपकरण बदलना और बिजली खंभों की मरम्मत करना. प्रीति ने कहा, "लोगों को यह विश्वास दिलाना मुश्किल है कि मैं एक लाइनवुमन हूं. जब मैं फील्डवर्क के लिए बाहर जाती हूं, तो लोग सोचते हैं कि मैं सक्षम काम नहीं कर पाऊंगी. कई लोग मुझसे काम करने से भी झिझकते हैं. हां, मुझे लैंगिक भेदभाव महसूस होता है, लेकिन जब मैं काम पूरा कर लेती हूं और अपने प्रति उनका व्यवहार बदलता देखती हूं तो मुझे खुशी होती है."

महिलाओं को इस प्रोफेशन में प्रीति कर रही प्रेरित 

टाटा पावरडीडीएल के अधिकारियों ने बताया कि वे आने वाले वर्षों में अधिक महिलाओं को लाइनवुमेन के पद पर आवेदन करने के लिए प्रोत्साहित करना चाहते हैं. फिलहाल, यह पेशा महिलाओं के लिए नया है और महिलाएं बिजली लाइनों पर काम करने की कल्पना भी नहीं करतीं, पर, टाटा पावरडीडीएल को उम्मीद है कि इस सोच में जल्द ही बदलाव आएगा.

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प्रीति कहती है, "अगर मैं खंभों पर चढ़ सकती हूं और बिजली के तारों पर काम कर सकती हूं, तो दूसरी महिलाएं भी निश्चित रूप से ऐसा कर सकती हैं. मुझे यकीन है कि आने वाले सालों में लोग महिलाओं को लाइनवर्कर के रूप में देखकर हैरान नहीं होंगे."

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