Organic Farming से किसान दीदी बन रहीं लखपति

कई प्रदेशों में अब किसान परिवार केमिकल खेती से अलग organic farming कर रहे.इस काम में किसान दीदियों की बड़ी भूमिका नज़र आ रही.लगातार काम और मेहनत से अब ये परिवार और दीदियां लखपति बन रहीं.  

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Organic Farming से किसान दीदी

सब्जी उत्पादन में जुड़ीं समूह की सदस्य खेत में काम करती हुईं (Image: Ravivar Vichar)

MP के Katni जिले में  Organic Farming और एडवांस खेती ने किसान परिवारों की ज़िंदगी बदल दी.Ajeevika Mission से जुड़कर SHG की महिलाओं ने इस खेती को अपना लिया.और अब दूसरों की भी प्रेरित कर रही.

Katni में बढ़ा Advance Farming का क्रेज़ 

पिछले कुछ सालों में कटनी जिले में advance और organic farming का क्रेज़ तेज़ी से बढ़ा.इसका कारण लगातार लागत कम और परिवारों में कमाई का बढ़ना है.

कटनी ब्लॉक के बंडा गांव के जय लक्ष्मी स्वयं सहायता समूह की मिथिलेश काछी बताती है-"हमारा परिवार भी पहले फर्टिलाइज़र का उपयोग कर खेती करता था.ये बहुत महंगा पड़ रहा था.समूह से जुड़ने के बाद ट्रेनिंग ली और organic farming शुरू की.सब्जी उत्पादन में धीरे-धीरे खेती की लागत कम और कमाई ज्यादा होने लगी."

इन महिलाओं ने गांव का माहौल बदल दिया.मिथिलेश को आजीविका मिशन से अलग-अलग टाइम 90 हज़ार रुपए का लोन भी मिला.

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किसान दीदियों को समझाते हुए यंग प्रोफेशनल उमर महबूब (Image: Ravivar Vichar)

बंडा गांव की ही जाग्रति SHG की मंजू लता बताती है-"हमने परंपरागत खेती को छोड़ सब्जी की खेती देशी तरीके से शुरू की.मैंने लगभग सवा लाख रुपए का लोन लिया.इससे खेती के साथ मैंने organic vermicompost बना कर बेचना भी शुरू किया.मेरी आमदनी बढ़ गई."               

गांव बंडा की आदर्श समूह की ज्योति काछी की भी कमाई advance farming से बढ़ गई और लखपति हो गई. 

6 दीदियों से शुरू और 600 से ज्यादा अपना रहीं आर्गेनिक

कटनी जिले में शुरू में 6 किसान परिवारों ने जैविक खेती को शुरू किया.आजीविका मिशन के Young Professional उमर महबूब बताते हैं-"जिले में organic farming और vermicompost को लेकर जागरूकता आई.कई किसान दीदी अब kisan sakhi बन चुकीं हैं.ये  लगातार जागरूक कर रहीं.इसी वजह से जिले में लगभग साढ़े छह सौ किसान दीदियों के परिवार ने यह पद्धति अपनाई." 

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अपने खेत में सब्जी तोड़ती समूह सदस्य (Image: Ravivar Vichar)       

kisan sakhi को ख़ास training लगातार दी जा रही. आजीविका मिशन की District Manager (DM) Seema Singh कहती हैं-"जिले में परंपरागत धन और गेहूं की खेती से अलग vegetable farming के लिए किसान दीदियों को RSETI के अंतर्गत ट्रेनिंग करवाई.यहां टमाटर,बैंगन,पालक सहित कई तरह की हरी सब्जियां उगा रहीं हैं.लगभग 12 से 18 हज़ार रुपए तक हर महीने कमाई कर रहीं."

जिले में लगातार जैविक खेती को लेकर आजीविका मिशन की DPM Shabana Khan खुद self help group की सदस्यों को प्रोत्साहित कर रहीं.

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