पोषण में सुधार के लिए किसानों को शामिल कर रहा FOLU इंडिया

SAHeLEE, FOLU India द्वारा शुरू की गई एक परियोजना है, जिसका लक्ष्य भारत के उत्तराखंड में गांव मुक्तेश्वर में स्थानीय अनाज, बीज, मेवे और फलों से सुरक्षित और पौष्टिक भोजन को बढ़ावा देना है.

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मिस्बाह
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SAHeLEEFOLU इंडिया (FOLU India) द्वारा शुरू की गई एक परियोजना है, जिसका लक्ष्य भारत के उत्तराखंड (Uttarakhand) राज्य में स्थित गांव मुक्तेश्वर (Mukteshwar) में स्थानीय रूप से उगाए गए अनाज, बीज, मेवे और फलों से सुरक्षित और पौष्टिक भोजन को बढ़ावा देना है.

हिंदी भाषा में 'सहेली' का अर्थ है 'दोस्त' और, सहज रूप से, FOLU का पहला कदम स्थानीय समुदाय (local community) के साथ तालमेल बनाना है, ताकि उनकी पोषण-आधारित आदतों और चुनौतियों को बेहतर ढंग से समझा जा सके.

लोकप्रिय स्थानीय खाद्य पदार्थों और कलिनरी प्रैक्टिसेज को समझा

महामारी लॉकडाउन (lockdown) के बीच परियोजना शुरू होने के साथ, FOLU इंडिया (FOLU India) के शोधकर्ताओं को किसानों (farmers) के साथ जुड़ने में कई चुनौतियों का सामना करना पड़ा. व्हाट्सएप और माइक्रोसॉफ्ट टीम्स की ओर रुख किया.

लोकप्रिय स्थानीय खाद्य पदार्थों (popular local foods) और सामान्य कलिनरी प्रैक्टिसेज (common culinary practices) को समझा. ऑनलाइन बातचीत के ज़रिये समझ आया कि यह समुदाय अपनी आजीविका और बच्चों की पोषण स्थिति (nutritional status) में सुधार लाने के विकल्प तलाश रहे हैं.

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गतिविधियों के ज़रिये जुड़े महिलाओं से 

दूर से समुदाय के साथ लगातार जुड़े रहना मुश्किल था. लेकिन, स्थानीय समुदाय को तरह-तरह की गतिविधियों के ज़रिये जोड़ा गया. उदाहरण के लिए, एक ऑनलाइन रेसिपी प्रतियोगिता (nutritional status) ने क्षेत्र की महिलाओं से जुड़ने में मदद की, जिन्होंने अपने पसंदीदा स्थानीय खाद्य पदार्थों के वीडियो रिकॉर्ड (video record) कर साझा किए. 

वीडियो ने गांवों में लोकप्रिय अनाज और साग-सब्जियों, प्रचलित खाना बनाने की तकनीकों (culinary techniques) और आमतौर पर घरों में इस्तेमाल होने वाले खाना पकाने के ईंधन (cooking fuels) के बारे में काफी कुछ बताया.

रेडियो के ज़रिये इंटरैक्टिव कार्यक्रमों को किया जायेगा प्रसारित 

स्थानीय रेडियो स्टेशन, 'कुमाऊं वाणी' (local radio station, ‘Kumaon Vani’) नैनीताल (Nainital) जिले के 500 गांवों तक पहुंचता है. पोषण विज्ञान (nutritional science) पर इंटरैक्टिव कार्यक्रमों (interactive programmes) की एक रेंज प्रसारित करने की योजना बनाई जा रही है.

इनमें गृह विज्ञान और कृषि (Home Science and Agriculture) में पाठ्यक्रम प्रदान करने वाले स्थानीय कॉलेजों में क्विज़, विशेषज्ञ इंटरव्यू और जिंगल प्रतियोगिताएं शामिल होंगी.

रेडियो SAHeLEE के तहत विकसित पौष्टिक खाद्य उत्पादों (nutritious food products) पर स्थानीय 'स्वयं सहायता समूहों' (self help groups) को दिए गए प्रशिक्षण पर आधारित कार्यक्रम भी प्रसारित करेगा. FOLU इंडिया का लक्ष्य स्वस्थ आहार और टिकाऊ भोजन विकल्पों (sustainable food choices) के बारे में जागरूकता (awareness) बढ़ाने के लिए ज्ञान केंद्र शुरू करना है.

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समुदाय के साथ संबंध बनाने के प्रयासों को 'द एनर्जी एंड रिसोर्सेज इंस्टीट्यूट' (The Energy and Resources Institute (TERI)), जो कि फोलू इंडिया (FOLU India) के मुख्य साझेदारों में से एक है, द्वारा टिकाऊ कृषि (sustainable agriculture) और क्षेत्र में किसानों के बीच आजीविका के अवसरों के विस्तार पर शुरू की गई पिछली परियोजनाओं से मजबूत किया गया है. उनमें से कुछ ख़ास प्रथाओं को अपनाने का भी प्लान बनाया गया है. 

इस पहल से किसानों की आमदनी, पोषण, और खाद्य सुरक्षा (food safety) को बढ़ाने में मदद मिलेगी. 

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