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एसएचजी महिलाएं अपनी मांगों को लेकर हरदा कलेक्टर ऑफिस में प्रदर्शन करते हुए (Image Credit: Ravivar vichar)
एसएचजी महिलाएं अपनी मांगों को लेकर हरदा कलेक्टर ऑफिस में प्रदर्शन करते हुए (Image Credit: Ravivar vichar)
मासूम बच्चों के लिए स्वदिष्ट खाना बनाने वाली महिलाओं के खुद पेट भरने के लाले पड़ रहे. न मांगे सुनी जा रही न कोई ठीक से आश्वासन देने को तैयार. स्वयं सहायता समूह (Self Help Group) की महिलाओं ने चेतावनी दी कि मांगे न मानी तो 6 अगस्त से चौका-चूल्हा बन कर देंगे. लगातार सरकार को दे रहे चुनौती के बावजूद शासन ने अभी इस मुद्दे को गंभीरता से नहीं लिया. हालत यह बन रहे कि एक जिले से दूसरे जिले और अब यह विरोध पूरे प्रदेश में फैल गया. हाल ही में हरदा (Harda) जिला मुख्यालय पर समूह की सदस्यों ने कलेक्टर के सामने जमकर प्रदर्शन किया.
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पूरे प्रदेश में जहां स्कूल खुल गए वहीं स्वयं सहायता समूह के सदस्यों का हड़ताल (Strike) पर जाना सरकार को मुश्किल में डाल सकता है. प्रदेश में नीमच, देवास, बुरहानपुर, खरगोन जिले के कई मुख्यालयों के साथ कसरावद सहित दूसरे जिलों में भी स्वयं सहायता समूह की महिलाओं ने प्रदर्शन किया.
मध्य प्रदेश (MP) के हरदा (Harda) जिले में सभी सरकारी स्कूल में मध्याह्न भोजन (Mid Day Meal) बनाने वाली समूह (SHG) की महिलाओं ने कलेक्टर ऑफिस पहुंच कर अनूठे ढंग से प्रदर्शन किया. महिलाओं ने अपनी मांगों को लेकर नारेबाजी की. थाली-कटोरे बजा कर विरोध जताया. संगठन की जिलाध्यक्ष सुनीता डोले ने कहा- "दो जुलाई को भोपाल के दशहरा मैदान में स्वयं सहायता समूह की महिलाओं ने अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन किया था। एक भी मांग पूरी नही हुई. यदि 48 घण्टे के भीतर उनकी 12 मांगों को पूरा नहीं किया जाता तो आगामी 6 अगस्त से जिले की सभी बहनें तहसील स्तर पर अनिश्चित कालीन धरना देंगी."
पूरे प्रदेश में समूह (SHG) का आरोप है कि सांझा चूल्हा (Sanjha Chulha) और मध्याह्न भोजन (MDM) बनाने वाले रसोइए को पर्याप्त पैसा नहीं मिलता, इससे उनका घर चलाना मुश्किल हो रहा.इसके पहले नीमच में भी समूह की महिलाओं ने प्रदर्शन कर यही मांगें पूरी करने को लेकर ज्ञापन सौंपा. अभी दो और छह हजार रुपए ही मिलते हैं.यह पैसा कलेक्टर रेट पर दिया जाए . इसके अलावा सांझा चूल्हा (Sanjha Chulha) से जुड़े समूहों की शिकायत है कि छह महीने से उनको भुगतान नहीं हुआ. फिलहाल प्राथमिक स्कूल में 4 रुपए 90 पैसे मिलते जो 10 रुपए व माध्यमिक स्कूल में 7 रुपए 45 पैसे की जगह 15 रुपए प्रति छात्र राशि दी जाना चाहिए.
हरदा जिला संगठन ने कलेक्टर (DM) ऋषि गर्ग ( Rishi Garg) को पांच सूत्रीय मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा. कलेक्टर गर्ग ने समूह को आश्वस्त किया कि वे समूह की मांगों को शासन तक पहुंचाएंगे.