उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) सेल्फ हेल्प ग्रुप्स ( SHGs) की महिलाओं को सफल और समृद्ध बनाने के लिए कई प्रयास कर रहा है. शक्ति रसोई (Shakti Rasoi), ड्रोन ऑपरेटर (Drone Operator), लखपति दीदी (Lakhpati Didi) सहित योजनाओं के साथ, अब तीस लाख ग्रामीण महिलाएं Self Help Groups से जुड़ी है.
UPSRLM से SHGs को मिलेगी माइक्रो एग्री प्रेन्योर्स की ट्रेनिंग
राज्य में UPSRLM के तहत अब महिला self help groups को माइक्रो एग्री-प्रेन्योर्स (Micro Agri-preneurs) बनने के लिए ट्रेनिंग दी जाएगी. इससे महिलाओं की सालाना आमदनी अगले तीन सालों में एक लाख रूपए तक पहुंच सकेगी.
नेशनल रूरल लाइवलीहुड मिशन (NRLM) के अंतर्गत उत्तर प्रदेश स्टेट रूरल लाइवलीहुड मिशन (UPSRLM) महिलाओं को आगे बढ़ाने के लिए रोडमैप तैयार कर रहा है. जिससे ग्रामीण महिलाओं को अपनी आजीविका कमाने के लिए दूसरों पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा.
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SHG महिलाओं की सालाना आय 1 लाख रूपए तक बढ़ाने का मिशन
पहले इस योजना में 1.5 मिलियन महिला एसएचजी को शामिल करने का मिशन था. राज्य में लगभग एक मिलियन के आसपास एसएचजी महिलाओं (SHG Women) की सालाना आय एक लाख रूपए से ज्यादा है. इस योजना के जरिए अगले तीन सालों में सेल्फ हेल्प ग्रुप्स की महिलाओं की सालाना आमदनी एक लाख रूपए से अधिक बढ़ाई जाएगी.
एग्रीकल्चरल प्रैक्टिसेज सीखकर आगे बढ़ेंगी SHG महिलाएं
सूक्ष्म कृषि उद्यमी योजना (Micro Agricultural Entrepreneur Scheme) में अलग-अलग एग्रीकल्चर प्रैक्टिसेज जैसे फार्मिंग, रूरल बैंक कॉरेस्पोंडेंट्स (Rural Bank Correspondents), टेक-होम राशन (Take Home Ration, THR) यूनिट्स, बकरी पालन, मुर्गी पालन, फार्मर प्रोड्यूसर आर्गेनाईजेशन (Farmer Producer Organization), फिशरीज (Fisheries), और फारेस्ट प्रोडूस (Forest Produce) शामिल है.
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उत्तर प्रदेश में फार्मर्स की आमदनी और ग्रामीण सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के लिए, एसएचजी महिलाओं को माइक्रो एग्री प्रेन्योर्स बना कर, उन्हें आर्थिक आज़ादी मिल सकेगी.