प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) की 15 अगस्त पर की गई घोषणा का असर दिखने लगा. एग्री-ड्रोन ट्रेनिंग (Agri Drone Training) के इस प्रोजेक्ट में SHG की महिलाओं को शामिल किया. इफको (IFFCO) के एमडी खुद ने इसको इनिशेटिव लिया. ग्वालियर के इंस्टीट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी एंड साइंस संस्था में यह शुरुआत हुई.
300 महिलाएं होंगी एग्री-ड्रोन ट्रेन
कंपनी ने खुद इसकी जानकारी दी. इस मिशन में SHG से जुड़ीं 300 महिलाओं को एग्री-ड्रोन पॉयलेट की ट्रेनिंग दी जाएगी. मैनेजिंग डायरेक्टर (MD) डॉ. यूएस अवस्थी (US Awasthi) ने माइक्रोब्लॉगिंग साइट एक्स पर लिखा- "शुरुआत में हम 300 महिलाओं को ट्रेनिंग देंगे। इफको किसान ड्रोन पायलट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) की 'लखपति दीदी योजना' के मुताबिक है. ड्रोन के संचालन और मरम्मत में महिलाओं के नेतृत्व वाले स्वयं सहायता समूहों को ट्रेन करेंगे."
महिलाओं को ड्रोन पायलेटिंग की ट्रेनिंग देते एक्सपर्ट (Image Credits: Rural Voice)
इफको द्वारा ग्वालियर (MP Gwalior news) और उत्तर प्रदेश (UP) के प्रयाग (Prayag) में फूलपुर प्लांट में महिला ड्रोन पायलटों के पहले बैच के लिए कृषि ड्रोन ट्रेनिंग (Agriculure Drone Training) शुरू की.
20 एकड़ तक छिड़काव कैपेसिटी
केंद्रीय रसायन और उर्वरक मंत्री मनसुख मंडाविया (Mansukh Mandawiya) ने इलेक्ट्रिक वाहन सहित इफको किसान ड्रोन को देखा. रोजाना 20 एकड़ क्षेत्र में यूरिया, डीएपी एवं कीटनाशकों का छिड़काव कर सकता है.ये ड्रोन इफको के लिए अत्याधुनिक स्प्रे समाधान के रूप में काम करेंगे।
इस अवसर पर इफको के एमडी डॉ. अवस्थी ने केंद्रीय मंत्री को इसकी विशेषताओं से अवगत कराया और बताया कि यह किस प्रकार खेतों में छिड़काव कर सकता है। इफको के मार्केटिंग डायरेक्टर योगेन्द्र कुमार भी उनके साथ थे.
ग्वालियर कमिश्नर दीपक सिंह समूह को लगातार प्रमोट करते हुए (Images: Ravivar Vichar)
समूह और अधिक होंगे मजबूत
ट्रेनिंग को लेकर जॉइंट डायरेक्टर डीएल कोरी ने बताया- "यह अच्छी शुरुआत है. समूह की प्रदेशभर से 20 महिलाओं को ट्रेनिंग देने से यह प्रोजेक्ट शुरू हुआ."
स्वयं सहायता समूह (Self Help Group) की महिलाओं को और अधिक आत्मनिर्भर बनाए के लिए जिला प्रशासन और आजीविका मिशन (Ajeevika Mission) के अधिकारी लगातार जुटे हुए हैं. ग्वालियर (Gwalior) कमिश्नर (Commissioner) दीपक सिंह (Deepak Singh) कहते हैं- "SHG की महिलाएं बहुत मेहनती हैं. यह पूरा इलाका एग्रो बेस्ड है. यदि महिलाएं ड्रोन पायलेटिंग और मरम्मत में ट्रेन होती हैं तो आने वाले समय में महिलाओं के रोजगार में बड़ा आर्थिक बदलाव दिखेगा."