समूह से जुड़कर साकार हुए महिला के सपने

अपने ससुराल में महिला के पास न खेती के लिए ज़मीन और न ही कमाई का कोई साधन था. केवल मजदूरी के भरोसे ज़िंदगी कट रही थी.समूह से जुड़ कर सपने साकार हुए और सम्मान की ज़िंदगी मिल गई.

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सिलाई करते हुए पिंकी कर्मा (Image: Ravivar Vichar)     

MP के Dewas जिले के कन्नौद ब्लॉक में करवाल पंचायत का टुबेलपुरा की रहने वाली पिंकी कर्मा ने self help group  से जुड़कर अपनी ज़िंदगी संवार ली.ज़मीन की खेती के लिए व्यवस्था की.आय के नए साधन जुटा लिए.

यूट्यूब से सीखी सिलाई और गांव में बनी मास्टर टेलर 

देवास जिले के कन्नोद ब्लॉक अंतर्गत करवाल पंचायत का टुबेलपुरा की पिंकी ने अपनी मेहनत से SHG में जगह बनाई और दूसरों के लिए भी मिसाल बन गई.पिंकी को अध्यक्ष बनाया. 

मां नर्मदा स्वयं सहायता समूह से जुड़ी पिंकी बताती है-"पहले हम मजदूरी ही कर परिवार की गुजर बसर करते थे.समूह से जुड़ने के बाद हमारे समूह को 75 हज़ार और फिर किश्तों में 1 और फिर 1 लाख रुपए का लोन मिल गया.मैंने सिलाई मशीन ली, यूट्यूब से सिलाई का काम सीखा. और काम शुरू कर दिया."

सिलाई में काफी निपुण होने के बाद स्कूल यूनिफॉर्म का काम भी सामूहिक रूप से मिल गया.

हुए कमाई का जरिया बढ़ गया.गांव में मास्टर टेलर बन गई. धीरे-धीरे lakhapti didi की श्रेणी में आ गई.  

म्यूज़िक सिस्टम DJ और खेती से हुए समृद्ध 

स्वयं सहायता समूह में CCL Loan लेने के बाद लीज़ और बंटवारे पर खेती के लिए 4 बीघा ज़मीन ली.पति संदीप कर्मा ने काम संभाला.कमाई बढ़ी तो म्युज़िक सिस्टम DJ भी खरीद लिया.मांगलिक उत्सव और अन्य आयोजन में और अधिक कमाई होने लगी.कन्नोद की BM Rekha More कहती है-"पिंकी को हेल्प सखी बनाने की स्पेशल ट्रेनिंग दिलवाई .यह गांव में पालतू मवेशियों के टीकाकरण में मदद करती है.इस काम के लिए अलग से मानदेय मिलता.पति भी अब पिंकी का सहयोग करते हैं." 

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अपनी कमाई से ख़रीदा DJ सिस्टम के साथ पिंकी के पति संदीप कर्मा (Image: Ravivar Vichar) 

Ajeevika Mission Dewas की District Project Manager (DPM) Sheela Shukla बताती है-"जिले में ऐसे कई समूह हैं जिसमें महिलाओं ने मेहनत कर रोजगार खड़ा किया.मिशन की योजनाओं का लाभ लगातार दिया जा रहा.पिंकी भी सिलाई के साथ कई काम कर help sakhi बनी.ख़ुशी है जिला प्रशासन के गाइडेंस में पिंकी अब लखपति दीदी की श्रेणी में आ गई."

कमाई बढ़ने के कारण यह परिवार अपने बच्चों को अच्छे से पढ़ा रहा."




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